प्राचीन परंपरा है झूलन महोत्सव

वृन्दावन।परिक्रमा मार्ग स्थित सुखधाम आश्रम में श्रावण मास (हरियाली तीज) के अवसर पर श्रीमज्जगदगुरू पीपाद्वाराचार्या बाबा बलराम दास देवाचार्य महाराज के पावन सानिध्य में दस-दिवसीय झूलन महोत्सव अत्यंत श्रद्धा एवं धूमधाम के साथ प्रारंभ हो गया है।

प्राचीन परंपरा है झूलन महोत्सव

ब्रज मंडल की अति प्राचीन परंपरा है झूलन महोत्सव

वृन्दावन।परिक्रमा मार्ग स्थित सुखधाम आश्रम में श्रावण मास (हरियाली तीज) के अवसर पर श्रीमज्जगदगुरू पीपाद्वाराचार्या बाबा बलराम दास देवाचार्य महाराज के पावन सानिध्य में दस-दिवसीय झूलन महोत्सव अत्यंत श्रद्धा एवं धूमधाम के साथ प्रारंभ हो गया है।महोत्सव का शुभारंभ ठाकुरजी के चित्रपट के समक्ष दीप प्रज्ज्वलन एवं पुष्प अर्पित करके किया गया।तत्पश्चात् संतों-महंतों एवं महामंडलेश्वरों का सम्मान आदि के कार्यक्रम हुए।महोत्सव के अंर्तगत सायंकाल प्रख्यात रासाचार्य स्वामी राम शरण शर्मा के निर्देशन में ब्रज की प्राचीन रासलीला का अत्यंत नयनाभिराम एवं चित्ताकर्षक मंचन किया गया।


श्रीमज्जगदगुरू पीपाद्वाराचार्या बाबा बलराम दास देवाचार्य महाराज ने कहा कि झूलन महोत्सव ब्रज मंडल की अति प्राचीन परम्परा है।जिसे यहां पर अत्यंत श्रद्धा व धूमधाम के साथ आयोजित किया जाता है।उसी परंपरा का निर्वाह आज हमारे द्वारा दस दिवसीय झूलन महोत्सव के द्वारा हो रहा है।ब्रज सेवा संस्थान के अध्यक्ष डॉ. गोपाल चतुर्वेदी ने कहा कि श्रीमज्जगदगुरू पीपाद्वाराचार्या बाबा बलराम दास देवाचार्य महाराज संत समाज के गौरव हैं। उन्होंने धर्म व अध्यात्म के अलावा समाज सेवा के क्षेत्र में भी अपनी हो एक अलग पहचान बनाई है,वो अति प्रशंसनीय है।


इस अवसर पर चतु:संप्रदाय के श्रीमहंत बाबा फूलडोल बिहारीदास महाराज, महामंडलेश्वर स्वामी सच्चिदानंद शास्त्री महाराज, महंत सुंदर दास महाराज, महंत रमणरेती दास महाराज, प्रमुख समाजसेवी पण्डित छैलबिहारी शर्मा, रासाचार्या स्वामी प्रेम शरण शर्मा, डॉ. रमेश चंद्राचार्य विधिशास्त्री महाराज, युवा साहित्यकार डॉ. राधाकांत शर्मा आदि की उपस्थिति विशेष रही।