हर हर गंगे के जयघोष के साथ श्रद्धालुओं ने लगायी आस्था की डुबकी

अनूपशहर:गंगापुल से लेकर मस्तरामघाट तक के एरिया में फैले अनूपशहर गंगातट पर कार्तिक पूर्णिमा पर्व के मौके पर बड़ी तादात में श्रद्धालुओं ने हर हर गंगे के जयघोष के साथ आस्था की डुबकी लगाकर पुण्य कमाया।

हर हर गंगे के जयघोष के साथ श्रद्धालुओं ने लगायी आस्था की डुबकी

अनूपशहर:गंगापुल से लेकर मस्तरामघाट तक के एरिया में फैले अनूपशहर गंगातट पर कार्तिक पूर्णिमा पर्व के मौके पर बड़ी तादात में श्रद्धालुओं ने हर हर गंगे के जयघोष के साथ आस्था की डुबकी लगाकर पुण्य कमाया।

सोमवार रात दस बजे से एक बजे तक बड़ी तादात में स्नानार्थी अनूपशहर पहुंचे थे। गंगास्नान के बाद श्रद्धालुओं ने मंदिरों में पूजा अर्चना की तथा भगवान सत्यनारायण व्रत कथा का श्रवण किया। गरीबों को दानपुण्य किया। मेलाक्षेत्र रामधुन से गूंज रहा था।

मौहल्ला अहारगेट में देवी जागरण का आयोजन किया गया। पंचमुखी महादेव, शिवानंद आश्रम  सहित कई जगहों पर भंडारे आयोजित किये गये। मेहताजी के बाग व शिवानंद आश्रम में संतों ने बसेरा कर धूनी जमाई।

मेला प्रशासन ने मेला क्षेत्र को तीन जोन व बारह सेक्टर में विभाजित कर मजिस्ट्रेटों की तैनाती की तथा हर जोन के स्नानघाटों पर मोटरबोट, नाव व गोताखोरों की तैनाती स्नान,प्रकाश, शौचालय, पेयजल, साफ सफाई, फायर ब्रिगेड,

एंबुलेंस व मेडीकल कैम्प, पशु चिकित्सा, वाहन पार्किंग, पब्लिक एड्रेस सिस्टम आदि का बंदोबस्त किया था। एसडीएम नवीन कुमार,नोडल अधिकारी राहुल यादव, सीओ अन्विता उपाध्याय, प्रभारी निरीक्षक यज्ञ दत्त शर्मा, तहसीलदार नीरज द्विवेदी,

नायब तहसीलदार अखिलेश यादव, ईओ संजय वर्मा, खंड विकास अधिकारी मोकमसिंह,बीईओ नरेंद्रसिंह आदि अधिकारी रात भर मेला व्यवस्थाओं का जायजा लेते रहे।


एक माह से चले आ रहे कार्तिक स्नान का समापन हुआ। श्रद्धालु महिलाओं ने व्रत रखकर व शालिगराम व तुलसी पूजन के साथ अपने व्रत व एक माह के कार्तिक स्नान को पूर्ण किया।


सोमवार देर रात गंगापुल रेती में संदग्धि परिस्थिति में एक बाइक आग में जलकर स्वाहा हो गयी है। बाइक को जलता देख राहगीरों ने पुलिस को सूचना दी। जिस पर सीओ व प्रभारी निरीक्षक यज्ञ दत्त शर्मा ने मौके पर पहुंच अग्निशमन गाड़ी बुलवाकर आग पर काबू पाया। बाइक में आग लगने के कारणों की

जानकारी नहीं मिली है। बताया जा रहा है कि दो पक्षों में विवाद हुआ था। बाइक मामले को भी इस विवाद से जोड़कर देखा जा रहा है। पुलिस जांचकर रही है। उसके बाद ही कुछ स्पष्ट रूप से कहा जा सकता


 है।कार्तिक मेला में आये दर्जन भर से अधिक बच्चे अपने परिजनों से बिछड़ गये थे। जिन्हें नगरपालिका परिषद परिषद में बने खोया पाया केंद्र व स्काउट व

गाइडों ने  परिजनों से मिलवाया।इस बार पुलिस फोर्स की कमी के चलते आरएसएस के स्वयंसेवकों ने यातायात व्यवस्था में पुलिस प्रशासन का सहयोग किया।