मोक्ष प्राप्ति का सबसे सुगम मार्ग है श्रीमद्भागवत कथा का श्रवण : महामंडलेश्वर स्वामी भास्करानंद महाराज
वृन्दावन।कालीदह क्षेत्र स्थित अखण्ड दया धाम में मंगलायतन सेवा ट्रस्ट के द्वारा कार्तिक मास के उपलक्ष्य में सप्त दिवसीय श्रीमद्भागवत कथा सप्ताह ज्ञान यज्ञ महोत्सव अत्यंत हर्षोल्लास एवं धूमधाम के साथ प्रारम्भ हो गया है।
मोक्ष प्राप्ति का सबसे सुगम मार्ग है श्रीमद्भागवत कथा का श्रवण : महामंडलेश्वर स्वामी भास्करानंद महाराज
वृन्दावन।कालीदह क्षेत्र स्थित अखण्ड दया धाम में मंगलायतन सेवा ट्रस्ट के द्वारा कार्तिक मास के उपलक्ष्य में सप्त दिवसीय श्रीमद्भागवत कथा सप्ताह ज्ञान यज्ञ महोत्सव अत्यंत हर्षोल्लास एवं धूमधाम के साथ प्रारम्भ हो गया है।महोत्सव का शुभारंभ परिक्रमा मार्ग से कथा स्थल तक गाजे-बाजे के मध्य निकाली गई श्रीमद्भागवतजी की भव्य शोभायात्रा के साथ हुआ।
तत्पश्चात व्यासपीठ पर आसीन अखण्ड दया धाम के संस्थापक महामंडलेश्वर आचार्य स्वामी भास्करानंद महाराज ने अपनी सुमधुर वाणी में देश-विदेश से आए सभी भक्तों-श्रृद्धालुओं को श्रीमद्भागवत महापुराण के महात्म्य की कथा श्रवण कराते हुए कहा कि श्रीमद्भागवत में समस्त धर्म ग्रंथों का समावेश है।
क्योंकि महर्षि वेदव्यासजी महाराज ने सभी ग्रंथों की रचना करने के बाद श्रीमद्भागवत महापुराण की रचना की थी।इसीलिए इसे पंचम वेद माना गया है।वस्तुत: मनुष्य की मोक्ष प्राप्ति का यदि कोई सबसे सुगम मार्ग है, तो वो श्रीमद्भागवत महापुराण है।उन्होंने कहा कि अखिल कोटि ब्रह्माण्ड नायक परब्रह्म परमेश्वर भगवान श्रीकृष्ण का शब्द स्वरूप ग्रंथ श्रीमद्भागवत महापुराण साक्षात कल्पवृक्ष के समान है।इसका आश्रय लेने वाले व्यक्ति की सभी मनोकामनाएं पूर्ण होती हैं।साथ ही उनके सभी पापों का क्षय हो जाता है।
इससे पूर्व यजमान परिवार के द्वारा वैदिक मंत्रोच्चार के मध्य श्रीमद्भागवत ग्रंथ व व्यासपीठ का पूजन-अर्चन किया गया।
इस अवसर पर साध्वी कृष्णानंद महाराज, वरिष्ठ साहित्यकार डॉ. गोपाल चतुर्वेदी, डॉ. राधाकांत शर्मा आदि के अलावा विभिन्न क्षेत्रों के तमाम गणमान्य व्यक्ति उपस्थित रहे।